राष्ट्रपति महोदया,डॉ.मल्ल को सारे विकल्प समाप्त होने पर इस बौद्धिक क्रांति को बाध्य होकर अनशन करना पड़ा:ओम प्रकाश पांडे

सेवा में , 
सम्माननीय राष्ट्रपति महोदया ,
नई दिल्ली, भारत 

विषय – गोरखपुर उत्तर प्रदेश सत्यपथ निवासी डॉ. संपूर्णानंद मल्ल (पूर्वांचल गाँधी) को न्याय दिलाने तथा मुस्तैद सुरक्षा उपलब्ध कराए जाने से संबंधित

महोदया,
डॉ. मल्ल को सारे विकल्प समाप्त होने पर इस बौद्धिक क्रांति को बाध्य होकर अनशन करना पड़ा । मुझे उनके उस एतिहासिक पत्र को सुनने का मौका मिला जो पूर्व में महोदया को लिखा गया था,
भारतीय इतिहास की पत्र परंपरा में अनेक दस्तावेज हैं जिनकी महत्ता है , उस तरह का पत्र जिसमें न्याय की गुहार लोकतांत्रिक पद्धति से सत्रह वर्षों तक की गई है जिसमें डॉक्टर ने अपनी पीड़ा और व्यथा को व्यक्त करते हुए प्रार्थना की है कि हमें सुना जाए पर सरकार और प्रशासन तो गूंगा और बेहरा है, संभव है न सुन पाए पर ,
महामहिम स्तर पर भी फरियादी की गुहार न सुनी जाए लज्जास्पद है ।
ऐसा ही हुआ है ,
आखिर डॉक्टर अनसन न करते तो क्या करते ? 
सुना है डॉ मल्ल आज गोरखपुर विश्वविद्यालय परिसर में राष्ट्रपति, राज्यपाल , मुख्यमंत्री आदि का पुतला दहन करेंगे इस कार्यक्रम में उन्होंने शासन से मुस्तैद सुरक्षा की मांग की है क्योंकि उन्हें भय है कि शासक वर्ग ही अपने गुर्गों से उनकी हत्या न करवा दे , भय के पीछे जो कारण हो उन्हें जिला प्रशासन सुरक्षा प्रदान करना चाहे वरना जिम्मेदारी से नहीं बचेगा ।
डॉक्टर मल्ल प्रोफेसर रहे हैं, योग्यता प्रमाणित कर ही पद प्राप्त किए थे , उनकी लिखी पुस्तकें विश्वविद्यालयों में पढ़ाई जाती हैं, उनकी चुनौती है आचार्य वृन्दों में मुझसे योग्य कोई आचार्य नहीं हैं तथापि मुझे अयोग्य कह कर पदच्युत किया गया,

डॉक्टर मल्ल के मकान पर सत्यपथ अंकित है । सत्य , अहिंसा जिसका जीवन धर्म और दर्शन है , सत्याग्रह जिसका अस्त्र है जिससे ब्रिटिश हुकूमत भयभीत होकर सत्ता सौंप कर अपने देश इंग्लैंड चली गई पर भूरी चमड़ी वाले इस देश के शोषकों को अंग्रेजियत में ढाल कर गई

भूरी चमड़ी वाले आज के अंग्रेजों ( शोषकों ) के विरुद्ध सत्याग्रह का कोई अर्थ नहीं है ।
प्रश्न है , क्या गाँधी आज हमारे देश में अप्रासंगिक हो गए हैं?
क्या शांति मार्ग बंद कर क्रांति मार्ग खोला जा रहा है?
कृपया डॉक्टर संपूर्णानंद मल उर्फ ( पूर्वांचल गाँधी) के प्रकरण पर अधिकार युक्त कमेटी गठित कर उन्हें पुनः पदस्थापित कराए जाने की कृपा के साथ उनकी पीड़ा और व्यथा का ध्यान कर न्याय देते हुए सादर समुचित सुरक्षा मुहैया कराई जाए जिससे किसी भी प्रकार की अनहोनी न हो ।

गाँधी दर्शन जिंदाबाद , पूर्वांचल गाँधी सत्तायु हों ।
   
        ओम प्रकाश पाण्डेय वरिष्ठ नागरिक ( क्रांतिकारी , पूर्व अध्यक्ष कुशीनगर महाविद्यालय 1971 )
आपातकाल नाशक , पूर्व प्रधानमंत्री की तनासाहियत के खिलाफ बगावत करने वाले महान क्रांतिकारी )
     कुशीनगर , उत्तर प्रदेश 
                 

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